Breaking News
मुंबई, १९७७ में जो राजनीतिक परिस्थिति देश की थी वैसे ही परिस्थति आज है। उस समय जनता पर्याय के रूप में आगे आई थी। कोई नेता नहीं था। केवल जनता ने चुनाव को हाथ में लिया। सत्ता परिवर्तन हुआ और इतिहास रचा गया। २०२४ में देश की जनता परिवर्तन अवश्य करेगी, ऐसा विश्वास राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने कल व्यक्त किया। इसके साथ ही राष्ट्रवादी की लोकसभा सदस्य सुप्रिया सुले और राज्यसभा सदस्य प्रफुल्ल पटेल को पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष पद पर नियुक्त करने की घोषणा कल दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में शरद पवार ने की।
मुंबई के चेंबूर स्थित राष्ट्रवादी युवक कांग्रेस के सम्मेलन में मार्गदर्शन करते हुए शरद पवार ने ‘भाकरी फिरवली’ रोटी घुमाने का समय आ गया है, ऐसा कहते हुए उन्होंने पार्टी में बदलाव का संकेत दिया था। इसके बाद ‘लोक माझे सांगाती’ इस पुस्तक के सुधारित आवृत्ति के विमोचन समारोह में राष्ट्रवादी के सर्वेसर्वा शरद पवार ने राष्ट्रीय अध्यक्ष पद से इस्तीफा देने की घोषणा की थी। इस घोषणा के बाद राष्ट्रवादी में ही नहीं, बल्कि देशभर की राजनीति में खलबली मच गई थी। शरद पवार इस्तीफा वापस लें। इस मांग को लेकर राकांपा कार्यकर्ताओं ने आक्रामक भूमिका अपनाई थी। मुंबई के यशवंतराव चव्हाण सेंटर के बाहर ३ दिनों तक कार्यकर्ताओं ने आंदोलन किया। देशभर के विरोधी दलों के बड़े नेताओं द्वारा अनुरोध और कार्यकर्ताओं की भावना का आदर करते हुए पवार ने अपना इस्तीफा वापस ले लिया था। तब से राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी में परिवर्तन किया जाएगा, ऐसी संभावना व्यक्त की जा रही थी। आखिर में कल पवार ने पार्टी में नया पद कार्यकारी अध्यक्ष का तैयार करके आगामी चुनावों की पृष्ठभूमि में पार्टी को मजबूत बनाने की दृष्टि से यह कदम उठाया है।
रिपोर्टर