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मुंबई, राज्य के ८५ प्रतिशत से अधिक पत्रकारों की आर्थिक स्थिति खराब है। उनके आर्थिक उत्थान के लिए मंगलवार को विधान परिषद में मुद्दा उठा। धीरज लिंगडे सहित कई सदस्यों ने पत्रकारों की आर्थिक स्थिति को लेकर सरकार से उचित कदम उठाने की मांग की। सामान्य प्रशासन विभाग के मंत्री शंभुराजे देसाई ने सदन के सदस्यों को आश्वस्त किया कि पत्रकारों के आर्थिक उत्थान के लिए जल्द ही हाईपावर कमेटी का गठन किया जाएगा। तो वहीं सेवानिवृत पत्रकारों को सरकार की ओर से दी जाने वाली निवृत वेतन की राशि बढ़ाकर २० हजार रुपए की जाएगी। देसाई ने कहा कि इसकी घोषणा अगले दो दिनों में की जाएगी।
सदन में ध्यानाकर्षण प्रस्ताव के तहत धीरज लिंगडे ने यह मुद्दा उपस्थित किया। इस पर सदस्य अभिजीत वंजारी, राजेश राठौड़, अशोक उर्फ भाई जगताप, डॉ. प्रज्ञा सातव आदि सदस्यों ने पत्रकारों की आर्थिक स्थिति पर सरकार का ध्यान आकर्षित किया। सदस्यों ने सदन में बताया कि राज्य में ८५ प्रतिशत पत्रकारों की आर्थिक स्थिति खराब है। उन्हें २० हजार रुपए से कम मासिक वेतन मिल रहा है। सरकार को इन पत्रकारों के आर्थिक उत्थान के लिए महामण्डल बनाने जरुरत है। सदस्यों ने कहा कि राज्य में ८५ प्रतिशत पत्रकारों की आय इतनी कम होती है कि उनके परिवार का गुजर बसर भी बड़ी मुश्किल से होता है। उनके आर्थिक विकास और उत्थान के लिए आर्थिक विकास संस्थान का गठन करने की आवश्यकता है। राज्य सरकार इस मामले में उचित कदम उठाते हुए अण्णाभाऊ पाटील आर्थिक विकास मंडल बनाए।
इस पर संबंधित विभाग के मंत्री शंभुराजे देसाई ने भी इस मुद्दे की गंभीरता को समझते हुए हाईपावर कमेटी गठित करने का आश्वासन दिया है। देसाई ने कहा कि राज्य में पत्रकारों को सरकार द्वारा विभिन्न प्रकार की रियायतें और सुविधाएं दी जाती हैं। डॉ. प्रज्ञा सावंत के मुद्दे के जवाब में उन्होंने कहा कि सेवानिवृत हो चुके पत्रकारों की पेंशन राशि बढ़ाकर २० हजार रुपए की जाएगी। अगले दो दिनों में इस संदर्भ में निर्णय लिया जाएगा। पत्रकारों के लिए स्व. शंकरराव चव्हाण पत्रकार सुवर्णमहोत्सवी कल्याण ट्रस्ट में निधि बढ़ाई जाएगी। डिजिटल मीडिया के लिए भी सहूलियतें बढ़ाई जाएंगी। मंत्रालय एवं विधिमंडल पत्रकार संघ ने इस पैâसले का स्वागत किया है।
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